Home Tuition in Dehradun
Uttarakhand Election Promotion 2024
उत्तराखंड

हादसे के बाद सुरंग निर्माण में दिखा आस्था और तकनीक का सामंजस्य मददगार बने थे बाबा बौखनाग

12 नवंबर 2023 को छोटी दीपावली के दिन निर्माणाधीन सुरंग के करीब 200 मीटर हिस्से में भूस्खलन होने के कारण 41 मजदूर अंदर फंस गए थे। उस समय मजदूरों को बचाने के लिए देश दुनिया की सबसे उच्च तकनीकी विशेषज्ञों और टीम को बुलाया गया था।

नवंबर 2023 में सिलक्यारा-पोलगांव में हुए हादसे के बाद कार्यदायी संस्था की ओर से आस्था और विज्ञान के बीच सांमजस्य बनाकर निर्माण कार्य किया गया। रेस्क्यू के समय जब देश-दुनिया की बड़ी से बड़ी तकनीक और मशीनें भी फेल हो गई थीं तब रेस्क्यू टीम और पूरे महकमे को बाबा बौखनाग की शरण में जाना पड़ा था।

इसके बाद पूरा महकमा बाबा बौखनाग देवता के पश्वा के पास पहुंचा। वहां पर देवपश्वा ने भविष्यवाणी की थी कि तीन दिन के भीतर सभी मजदूर सुरक्षित बाहर निकलेंगे। उनकी भविष्यवाणी सच साबित हुई और सभी 41 मजदूर सुरक्षित बाहर निकाले गए थे। यह देश का सबसे बड़ा रेस्क्यू ऑपरेशन था जो 17 दिन चला था।

उस दिन वहां मौजूद सीएम पुष्कर सिंह धामी ने सुरंग के बाहर बाबा बौखनाग देवता के मंदिर के निर्माण की घोषणा की थी। वहीं मजदूरों ने भी राड़ी टॉप पर जाकर हवन किया था। वहीं सुरंग के अंदर गंगा जल भी छिड़का गया था। बुधवार को सुरंग के आरपार होने पर नवनिर्मित मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा की गई। वहीं सीएम ने यह भी घोषणा की कि सिलक्यारा-पोलगांव सुरंग के नाम को बाबा के नाम पर रखने के लिए केंद्र सरकार को प्रस्ताव भेजा जाएगा।

Register Your Business Today

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button