जेयू के प्रोफेसर का दावा- चिनाब में टेक्टोनिक हलचल से रामबन में भू-धंसाव, रिवर फॉल्ट है संकट का सबब
ये कहना है, जम्मू विश्वविद्यालय के भूगर्भ विज्ञान विभाग के प्रोफेसर एसएस जसरोटिया का। उन्होंने कहा कि इन प्राकृतिक घटनाओं को हम रोक नहीं सकते, लेकिन ऐसे क्षेत्रों में अतिरिक्त सावधानी बरत सकते हैं।
रामबन जिले के परनोट गांव में भूमि धंसने और दरारें आने का कारण चिनाब दरिया में हो रहा टेक्टोनिक मूवमेंट (पृथ्वी की सतह के नीचे उथलपुथल ) हो सकता है। ये कहना है, जम्मू विश्वविद्यालय के भूगर्भ विज्ञान विभाग के प्रोफेसर एसएस जसरोटिया का। उन्होंने कहा कि इन प्राकृतिक घटनाओं को हम रोक नहीं सकते, लेकिन ऐसे क्षेत्रों में अतिरिक्त सावधानी बरत सकते हैं।
प्रो. जसरोटिया के मुताबिक, रामबन में संगलदान की तरफ से आ रही चंगी स्ट्रीम (खड्ड), चिनाब दरिया में मिलती है। जिस स्थान पर चंगी स्ट्रीम चिनाब दरिया में मिलती है वहां दरिया नीचे की ओर दक्षिण की तरफ थोड़ा सीधा बहता है, फिर मुड़ता और फिर सीधा हो जाता है। जब सीधा होता है तो यह फॉल्ट लाइन बनती है, जबकि दरिया के नीचे भी पहले से फॉल्ट लाइन है।
दोनों फॉल्ट लाइन बनने से वहां रिवर फॉल्ट बनता है। यह दो अंगुलियों के एक-दूसरे से मिलने जैसा होता है। यहां रामबन की तरफ से आ रहा दरिया ऊपर जाता है, जबकि संगलदान की तरफ से आ रही स्ट्रीम नीचे चली जाती है। इसके एक सिरे को फुट वॉल तो दूसरे को हैंगिंग वॉल कहते हैं। यहां बनने वाले रिवर फॉल्ट से टेक्टोनिक मूवमेंट बनता है। जिस स्थान पर ये मूवमेंट हो रहा है उसके दाहिनी ओर परनोट गांव आता है, जबकि बाईं तरफ संगलदान आता है। ऐसे में टेक्टोनिक मूवमेंट भूमि धंसने का कारण बन रहा है।