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खेल-कूद

अरुणाचल के खिलाड़ियों की एशियाड में भाग लेने की संभावनाएं खत्म

26 जुलाई को भारत सरकार ने चेंगदू (चीन) में हुए विश्व यूनिवर्सिटी खेलों में भाग लेने जा रही पूरी वूशु टीम को दिल्ली एयरपोर्ट से वापस बुला लिया था। उस दौरान भी चीन ने इन तीनों खिलाड़ियों को नत्थी वीजा जारी किया था।

चीन की हरकत के बाद अरुणाचल प्रदेश की तीन महिला वूशु खिलाड़ियों के हांगझोऊ एशियाई खेलों में भाग लेने की संभावनाएं खत्म हो गई हैं। चीन ने अरुणाचल प्रदेश की तेगा ओनिलु, लामगु मेपुंग और वांगसू न्येमान को नत्थी वीजा जारी किया है। भारत सरकार नत्थी वीजा को मान्यता नहीं देती है, जिसके चलते इन तीनों को ही एशियाई खेलों में नहीं भेजा जा सकता है। हांगझोऊ में एशियाई ओलंपिक परिषद (ओसीए) और एशियाई खेल आयोजन समिति ने भी गुरुवार को यह स्पष्ट कर दिया कि इन तीनों खिलाड़ियों को चीन सरकार के नियमों के तहत एशियाई खेलों के लिए वीजा जारी किया जा चुका है, लेकिन उन्होंने इसे स्वीकार नहीं किया है।

दो माह में दूसरी बार रुके तीनों खिलाड़ी
दो माह के अंतराल में यह दूसरा मौका है, जब इन तीनों खिलाड़ियों को चीन की हरकत की वजह से अंतरराष्ट्रीय खेल आयोजन से दूर रहना पड़ेगा। इससे पहले 26 जुलाई को भारत सरकार ने चेंगदू (चीन) में हुए विश्व यूनिवर्सिटी खेलों में भाग लेने जा रही पूरी वूशु टीम को दिल्ली एयरपोर्ट से वापस बुला लिया था। उस दौरान भी चीन ने इन तीनों खिलाड़ियों को नत्थी वीजा जारी किया था, जिसके विरोध में भारत सरकार ने पूरी वूशु टीम इन खेलों में भाग लेने से रोक दी थी।

कूटनीतिक कोशिशें भी नहीं आईं काम
एशियाई खेलों के लिए इन तीनों खिलाड़ियों को नत्थी वीजा जारी किए जाने के बाद भारत सरकार ने कूटनीतिक स्तर पर भी इन खिलाड़ियों को एशियाई खेलों में भेजने की कोशिश की, लेकिन गुरुवार की रात तक यह कोशिशें सफल नहीं रहीं। सूत्र बताते हैं कि अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री पेमा खांडू ने केंद्र सरकार से खिलाड़ियों की पुरजोर पैरवी की। खिलाड़ी गुरुवार को केंद्रीय मंत्री किरन रिजिजू से भी मिले थे।

रंधीर ने कहा चीनी अधिकारियों के समक्ष रखा मामला
ओसीए के कार्यकारी अध्यक्ष रंधीर सिंह ने हांगझोऊ में कहा कि वे इस मुद्दे को मजबूती से चीनी अधिकारियों के समक्ष रख रहे हैं। उनकी इस मुद्दे पर बृहस्पतिवार को कार्यकारी समूह के समक्ष रखा, साथ ही समहू की बैठक में भी इस मामले को रखा गया। ओसीए के महानिदेशक विनोद तिवारी ने कहा कि हम इस मामले का हल निकालने की कोशिश कर रहे हैं। इस मामले पर आयोजन समिति से भी बात की जा रही है। वहीं ओसीए की एथिक्स कमेटी के चेयरमैन वेई जी झांग ने चीन की ओर से खिलाड़ियों को वीजा जारी किया जा चुका है। उन्हें नहीं लगता है कि यह ओसीए की समस्या है।

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